दिवेर का युद्ध
दिवेर का युद्ध | अमरकाव्य’ के अनुसार 1582 ई. में राणा प्रताप ने मुगलों के विरुद्ध रावली टाटगढ़ अभ्यारण्य स्थित दिवेर (कुंभलगढ़) पर जबरदस्त आक्रमण किया दिवेर का युद्ध अमरकाव्य’ […]
दिवेर का युद्ध | अमरकाव्य’ के अनुसार 1582 ई. में राणा प्रताप ने मुगलों के विरुद्ध रावली टाटगढ़ अभ्यारण्य स्थित दिवेर (कुंभलगढ़) पर जबरदस्त आक्रमण किया दिवेर का युद्ध अमरकाव्य’ […]
राणा सांगा | सांगा का राज्यभिषेक मई 1509 ई. में 27 वर्ष की उम्र में किया गया था. वह भारतीय इतिहास में ‘हिन्दुपत’ के नाम से विख्यात है राणा सांगा […]
चंपानेर की संधि | यह संधि मालवा के सुल्तान महमूद खिलजी एवं गुजरात के सुल्तान कुतुबुद्दीन के मध्य 1456 ई. में राणा कुंभा के विरुद्ध हुई चंपानेर की संधि यह […]
राणा लाखा | वे राणा क्षेत्रसिंह का पुत्र था। उसने बदनौर प्रदेश को अपने अधीन कर लिया। उसने कई किलों का निर्माण करवाया राणा लाखा राणा लाखा, राणा क्षेत्रसिंह का […]
रावल रतनसिंह | रावल समरसिंह की मृत्यु के बाद उसका पुत्र रतनसिंह 1302 ई. के लगभग चित्तौड़ की गद्दी पर बैठा। वह एक बहुत ही महान शासक साबित हुए थे […]
तेजसिंह | रावल जैत्रसिंह के बाद रावल तेज सिंह मेवाड़ का शासक बना। उसने कई उपाधियाँ धारण की जो उसे प्रतिभा सम्पन्न साबित करती हैं तेजसिंह रावल जैत्रसिंह के बाद […]
गुहिल राजवंश | रावल समरसिंह की चित्तौड़ प्रशस्ति से गुहिल वंश की अनेक शाखाओं का बोध होता है। मुँहणौत नैणसी ने अपनी ख्यात में गुहिलों की 24 शाखाओं का जिक्र […]